
राजस्थान के भरतपुर जिले में बने श्रीजगन्नाथ पहाड़िया मेडिकल कॉलेज से बुधवार को 13 छात्राओं के साथ रैगिंग का मामला सामने आया है। ये सभी छात्राएं फर्स्ट ईयर की स्टूडेंट्स हैं, जिन्होंने अपनी सीनियर्स पर लगातार रैगिंग करने के आरोप लगाए हैं। इस रैगिंग के दौरान छात्राओं से उनकी हॉबी के बारे में पूछा गया और फिर उन्हें गाना गाने के लिए मजबूर किया गया। जब रैगिंग की बात प्रिंसिपल तक पहुंची तो उन्होंने तुरंत एंटी रैगिंग कमेटी को सक्रिय कर दिया, जिसके बाद सीनियर छात्राएं रंगे हाथ पकड़ी गईं।
अब कॉलेज प्रशासन की ओर से रैगिंग लेने वाली छात्राओं के परिजनों को लेटर लिखकर कॉलेज बुलाया गया है। कॉलेज प्रिंसिपल तरुणपाल ने बताया, ‘मेरे पास पहली बार जैसे ही रैगिंग की शिकायत आई तो मैंने एंटी रैगिंग कमेटी को सक्रिय कर दिया और पूरे मामले पर नजर रखने के लिए कहा। मात्र 10 मिनट में रैगिंग करने वाले स्टूडेंट्स को कमेटी ने पकड़ लिए और उन्हें मेरे पास लाया गया। उनके परिजनों को पत्र लिखा जा चुका है, जिससे परिजनों को एक बार अवगत करा दें कि उनके बच्चे मेडिकल कॉलेज में क्या कर रहें है और किस जुर्माने से वह गुजरने वाले हैं।
हालांकि रैगिंग का शिकार हुई छात्राओं ने शिकायत पर कार्यवाही नहीं करने की मांग की है। इसी के चलते प्रिंसिपल ने रैगिंग लेने वाली छात्राओं के नाम की पुष्टि नहीं की है। अगर कोई कार्रवाई होती है। तो उन्हें जेल भी जाना पड़ सकता है और उनकी एमबीबीएस की पढ़ाई में बाधा उत्पन्न हो सकती है। लेकिन बात शायद आगे नहीं बढ़ेगी क्योंकि दीपावली के बाद 6 नवंबर से 10 नवंबर के बीच रैगिंग में शामिल सीनियर छात्राओं के परिजनों को कॉलेज बुलाया गया है, जहां प्रिंसिपल से मीटिंग के बाद फाइन जैसा कोई फैसला होना संभव है।